विधानसभा नौकरी से बर्खास्त हुए ,पिता खोया , माँ दिव्यांग , टूटा दुखों का पहाड़ अब कैसे उभरेंगे लमगड़ा के शिवराज !
लमगड़ा(अल्मोड़ा)
विधानसभा से बर्खास्त कर्मचारी पर टूटा दुखों का पहाड़, नोटिस से सदमे में आए पिता की मौत अल्मोड़ा निवासी शिवराज सिंह नगरकोटी विधानसभा सचिवालय में चतुर्थ श्रेणी (परिचारक) कर्मचारी थे। वर्ष 2016 में शिवराज की नियुक्ति विधानसभा सचिवालय में तदर्थ कर्मचारी के रूप में हुई थी और उन्हें राज्य संपत्ति विभाग की ओर से केदारपुरम स्थित टाइप-ए श्रेणी का आवास आवंटित था। विधानसभा सचिवालय से बर्खास्त किए जाने के बाद शिवराज की आर्थिक स्थिति काफी दयनीय हो गई थी।
शिवराज ने अपनी बहन की शादी और गांव में पुश्तैनी मकान की मरम्मत के लिए बैंक से ऋण लिया था।
नौकरी जाने के बाद बैंक के लोन की किस्तों का भुगतान करने में असमर्थ हो गए थे और उनकी लोन की किस्त नहीं जा रही थी। शिवराज ने अपनी बहन की शादी और गांव में पुश्तैनी मकान की मरम्मत के लिए बैंक से ऋण लिया था। नौकरी जाने के बाद बैंक के लोन की किस्तों का भुगतान करने में असमर्थ हो गए थे और उनकी लोन की किस्त नहीं जा रही थी।
ऋण वसूली को लेकर बैंक से भी नोटिस मिल रहे थे। इससे पिता काफी तनाव में थे। वहीं राज्य संपत्ति विभाग ने सरकारी आवास खाली करने का नोटिस थमा दिया। इकलौते कमाने वाले बेटे की नौकरी जाने से तनाव में चल रहे शिवराज के पिता हर सिंह नगरकोटी (55) की 4 मार्च को हार्टअटैक से मौत हो गई।
शिवराज के कंधों में अब सारी जिम्मेदारी
शिवराज के बड़े भाई (ताऊ के लड़के ) खीम सिंह नगरकोटी ने बताया कि चाचा के जाने पर अब पूरे परिवार दुःखो का पहाड़ टूट गया है उन्होंने बताया कि चाचा के तीन लड़के हैं जो कि तीनों बेरोजगार हैं , कैसे उभरेगा इस दुःख से परिवार कुछ समझ में नही आ रहा है . उन्होंने बताया कि चाची (शिवराज की माता ) पहले से ही विकलांग हैं जो कि पिछले 20 साल से ह्वील चेयर पर हैं !
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