देश-विदेशसमाचार

यहाँ लोन एप्प में बुरे फंसे परिवार ने आत्महत्या की , हम सभी के लिये शबक!

Hills Headline||


मध्यप्रदेश प्रदेश(भोपाल)

मध्यप्रदेश के भोपाल से दुःखद व हैरान करने वाली खबर सामने आई है यहाँ आठ साल का बेटा, तीन साल की बेटी और पति-पत्नी. छोटा सा खुशहाल परिवार. लेकिन एक छोटी सी गलती इस परिवार पर इतनी भारी पड़ी की सामूहिक खुदकुशी करनी पड़ी. बच्चों को जहर दिया और पति-पत्नी ने फांसी लगा ली. दरअसल, भोपाल का यह परिवार मार्केट में फैले लोन ऐप के जंजाल में फंस गया था.


घर के मुखिया ने इस परेशानी से निकलने की काफी कोशिश की, लेकिन जब बाहर निकलने का कोई रास्ता नजर नहीं आया तो जिंदगी खत्म करने का फैसला कर लिया. मरने से पहले इस परिवार ने 4 पेज का एक सुसाइड नोट छोड़ा है, जिसे पढ़कर आप समझ जाएंगे कि लोन ऐप के चंगुल में फंसना कितना दर्दनाक और जानलेवा हो सकता है.

अमेरिका

4 पेज के सुसाइड नोट में दर्दभरी दास्तान

‘समझ नहीं आ रहा क्या करें. पता नहीं हमारी इतनी प्यारी छोटी सी फैमिली को किसकी नजर लग गई. अपने परिवार के लोगों से हाथ जोड़कर माफी मांगना चाहते हैं. एक गलती की वजह से हमसे जुड़े सभी लोग काफी ज्यादा परेशान हुए. 

खुशी-खुशी हम अपने परिवार के साथ जी रहे थे. कोई परेशानी या किसी बात की चिंता नहीं थी. लेकिन अप्रैल में मेरे वाट्सऐप पर एक मैसेज आया. इसमें ऑनलाइन काम करने का ऑफर था. यही मैसेज दोबारा टेलीग्राम पर आया. थोड़े से पैसे और अपनी जरूरतों के चलते मैं इसके लिए तैयार हो गया. ज्यादा समय भी नहीं देना था, इसलिए काम शुरू कर दिया.

शुरू में थोड़ा फायदा हुआ, लेकिन धीरे-धीरे दलदल में फंसता चला गया. जब भी थोड़ा समय मिलता, मैं उस काम को करने लग जाता. आगे जाकर लोड इतना ज्यादा हो गया कि अपने काम के साथ इस काम में लगे पैसों का हिसाब नहीं रख पाया. इन पैसों का इस्तेमाल घर पर बिल्कुल नहीं कर पाया. काम का दबाव बहुत ज्यादा बढ़ गया.

मुझे मैसेज आने लगे कि ऑर्डर पूरा करो और अपना कमीशन (पैसे) निकाल लो. लेकिन ये एक दलदल था, जहां से निकल पाना मुश्किल था. जब सारे पैसे खत्म हो गए तो कंपनी वालों ने लोने ऑफर किया. चार साल पहले जिस कंपनी में था, वह बंद हो गई थी, जिसके बाद मेरा क्रेडिट सिविल खराब हो गया था. इसलिए मैंने मना किया, क्योंकि मेरा सिविल पहले से खराब था. लोन कहां से मिलता, लेकिन कंपनी वालों के कहने पर मैंने कोशिश की और लोन मिलता चला गया. उन पैसों को भी मैं पानी की तरह कंपनी में ही लगाता चला गया.’

अमेरिका

लोन ऐप के दलदल से निकलना चाहा, लेकिन…

सुसाइड नोट में आगे लिखा है ‘काम शुरू करने से पहले मैंने ई-कॉमर्स कंपनी की वेबसाइट चैक की थी. कंपनी TRP के लिए काम करवाती है, जो कोविड के बाद 2022 में कोलंबिया से शुरू हुई थी. यह सब देखकर मैंने काम शुरू किया, लेकिन पता नहीं था कि इस मोड़ पर आकर खड़े हो जाएंगे कि कोई रास्ता नहीं बचेगा.

इस काम की जानकारी मेरी पत्नी या परिवार के किसी भी सदस्य को नहीं थी. पत्नी जब भी मुझे देखती तो यही कहती थी कि कुछ गलत मत करना. और मैं मना करते हुए जवाब देता था कि सब तुम्हारी खुशी के लिए ही कर रहा हूं. लेकिन मेरे समझ में नहीं आया कि मैंने क्या कर डाला. 

ऑनलाइन जॉब का शिकार होने के बाद मुझे लगा कुछ दिन बाद पैसे मिलते ही सबका लोन क्लियर करके सब छोड़ दूंगा, लेकिन मैं समझ नहीं पाया कि इतना सबकुछ हो जाएगा. ऑनलाइन जॉब वालों ने मुझ पर लोन का इतना कर्जा कर दिया कि मैं खुद भी हैरान होता चला गया. मैं समझ गया कि मेरे साथ फ्रॉड हुआ है. बात-बात पर मेरे ऊपर पैसे का दबाव बनाया जाने लगा. ये पैसे मैंने अपने लिए नहीं लिए थे, मैं तो इनका इस्तेमाल भी नहीं कर पाया. कंपनी ने लोन ऑफर किया और पैसे लेकर मैंने वापस कंपनी में ही लगा दिए.

जून में लोन का कर्जा इतना ज्यादा होता चला गया कि रिकवरी वालों ने धमकाना शुरू कर दिया. किसी तरह मैंने व्यवस्था करके EMI भर दी, लेकिन जुलाई में लोन वालों ने मेरा फोन हैक कर लिया. उससे डीटेल निकालकर रिश्तेदारों, दोस्तों और सहकर्मियों को ब्लैकमेल करना शुरू कर दिया. वह (लोन कंपनी) धमकी देने लगे कि तुम्हारी अश्लील और गलत फोटो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर देंगे, बदनाम कर देंगे. यहां तक की उन्होंने मेरे बॉस की DP (फोटो) का भी गलत इस्तेमाल किया. इस बात से मुझे काफी गिल्टी (बुरा) फील हो रहा है. मेरी एक गलती की सजा सभी पहचान वालों को मिल रही है. उन्हें ब्लैकमेल किया जा रहा है.’

अमेरिका

‘किसी को मुंह दिखाने लायक नहीं बचा’

चार पेज के सुसाइड नोट में आगे लिखा है,’मैं साइबर क्राइम ऑफिस गया, लेकिन वहां अधिकारी न होने और छुट्टी होने के कारण मामला टल गया. दोबारा गया. आवेदन बनवाने के लिए वकील से मिला. उन्होंने ड्राफ्टिंग के लिए समय मांगा. लेकिन मैं न किसी से बात कर पा रहा हूं और न ही नजरें मिला पा रहा हूं. कोई नहीं समझ पा रहा कि आज मैं अपनी ही नजरों में गिर चुका हूं.

नौकरी जाने की नौबत आ गई है. अपना और परिवार का भविष्य नहीं दिखाई दे रहा है. किसी को मुंह दिखाने लायक नहीं बचा हूं. परिवार से कैसे नजर मिला पाऊंगा. अपने बाबूजी, अम्माजी, पापाजी, मम्मीजी, भैया-भाभी, प्यारी बहनों, प्यारी सी बेटी सबसे यही कहना चाहता हूं कि सबसे कैसे नजर मिलाऊं. सबसे ज्यादा इस बात का डर है कि भविष्य में मेरी बेटी की शादी में परेशान ना आए.

इसलिए परिवार यानी पत्नी और बच्चों रिशू और किशू को तकलीफ में नहीं छोड़ सकता, इसलिए अपने साथ सभी को लेकर जा रहा हूं. सबसे फिर माफी मांगता हूं. मेरे परिवार को माफ कर दें. मैं मजबूर हूं. शायद हमारे जाने के बाद सब अच्छा हो जाएगा. 

अमेरिका

सुसाइड नोट में बताई अंतिम इच्छा

निवेदन है कि हमारे जाने के बाद परिवारवालों को लोन के लिए परेशान न किया जाए. न ही किसी रिश्तेदार या साथी कर्मचारी को परेशान किया जाए. मैं अपने पापा-मम्मी, बाबूजी-अम्माजी, तीनों बहनों, बड़े भाइयों, अन्तु दी, दोनों सालों सबसे माफी मांगता हूं. हमें माफ कर दें. हमारा साथ यहीं तक था. हमारी अंतिम इच्छा यह है कि हमारा पोस्टमार्टम न किया जाए और सभी का अंतिम संस्कार साथ में किया जाए. ताकी हम चारों साथ में रहें.’

Hills Headline

उत्तराखंड का लोकप्रिय न्यूज पोर्टल हिल्स हैडलाइन का प्रयास है कि देवभूमि उत्तराखंड के कौने – कौने की खबरों के साथ-साथ राष्ट्रीय , अंतराष्ट्रीय खबरों को निष्पक्षता व सत्यता के साथ आप तक पहुंचाएं और पहुंचा भी रहे हैं जिसके परिणाम स्वरूप आज हिल्स हैडलाइन उत्तराखंड का लोकप्रिय न्यूज पोर्टल बनने जा रहा है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button